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रोहित बिष्ट

रोहित बिष्ट

NMF journalist with over a decade of experience covering politics, global affairs, and human interest stories. Her reporting combines in-depth analysis with a focus on storytelling that resonates with readers across platforms.

  • 23 साल का लड़का देसी गायों का Successful Farm चलाता है, बड़े-बड़े अधिकारी युवा के फैन । Gwalior
    Being Ghumakkad
    08 May, 2024
    01:55 PM
    23 साल का लड़का देसी गायों का Successful Farm चलाता है, बड़े-बड़े अधिकारी युवा के फैन । Gwalior

    निमिष ने ग्रेजुएशन करने के साथ-साथ किसी कॉम्पटिशन की तैयारी नहीं की, ना किसी बड़े बिज़नेस में हाथ आज़माया। निमिष ने शहर के करीब इस बड़ी सी भूमि पर खेती शुरू की, साथ ही राठी और साहीवाल जैसी गाय के नस्ल सुधार पर काम करके सबको हैरत में डाल दिया।

  • जहां कभी बागी छुपा करते थे, वो टिकटोली दूमदार ‘चमत्कार’ का गढ़ बना । Morena
    Being Ghumakkad
    07 May, 2024
    06:33 PM
    जहां कभी बागी छुपा करते थे, वो टिकटोली दूमदार ‘चमत्कार’ का गढ़ बना । Morena

    परसौटा से टिकटोली दूमदार का रास्ता काफी हरा-भरा है। बरसात में ये हरियाली पहले से ज्यादा बढ़ जाती है। जैसे ही गांव का इलाका खत्म होता है पहाड़ी शुरू हो जाती है। ये हिस्सा निरार का जंगल कहलाता है। जो बीहड़ से कम नहीं लगता। यहां ऑफ रोडिंग के दौरान रास्ते भटक जाना आम बात है। Being Ghumakkad के साथ भी यही हुआ। टिकटोली दूमदार और वहां के ऐतिहासिक दस्तावेज़ों की खोज में हम इस बियावान में खो गए।

  • Uttarakhand का वो रहस्यमयी स्थान, जहां ‘कालकूट’ ज़हर पीकर महादेव Neelkanth बने
    Being Ghumakkad
    07 May, 2024
    01:16 PM
    Uttarakhand का वो रहस्यमयी स्थान, जहां ‘कालकूट’ ज़हर पीकर महादेव Neelkanth बने

    ऋषिकेश से नीलकंठ महादेव जाने के दो रास्ते हैं एक पुराना पैदल रास्ता है, जो स्वर्गआश्रम से होते हुए जाता है। 7 किलोमीटर का ये रास्ता जंगल से trekking करते हुए मंदिर तक जाता है। जहां लंगूरों को संतो द्वारा भोजन देने के दृश्य दिख जाना आम बात है। दूसरा रास्ता वाया रोड है, ये मंदिर के बेहद नज़दीक तक आपको ले जाता है। लेकिन रोड नेटवर्क से ये दूरी करीब 30 किलोमीटर है। पहाड़ियां घुमावदार हैं, इसलिए वाया रोड भी नीलकंठ महादेव पहुंचने में करीब एक घंटे का समय लग जाता है। मंदिर से काफी पहले ही श्रद्धालुओं को पार्किंग करनी पड़ती है |

  • अद्भुत करिश्मा, Rajasthan में मिला दूसरा अमरनाथ, गुफा में रोज़ आते हैं महादेव। Parashuram Mahadev
    Being Ghumakkad
    07 May, 2024
    12:45 PM
    अद्भुत करिश्मा, Rajasthan में मिला दूसरा अमरनाथ, गुफा में रोज़ आते हैं महादेव। Parashuram Mahadev

    आज ऐसे ही शिव के अद्भुत, अविश्वसनीय, अकल्पनीय स्थान की खोज में Being Ghumakkad की टीम बढ़ रही है, पहाड़ की कंदराओं में बसे परशुराम महादेव की ओर। यहां के नज़ारे, पहाड़, जंगल, हरियाली और झील देखकर हैरान मत हो जाना। ये हिमालय रेंज नहीं है, ये प्रकृति की गोद में बसे राजस्थान का सबसे दुर्लभ हिस्सा है, जिसकी चर्चा नहीं होती। ये राजस्थान का अप्रतिम सुंदरता से भरपूर स्थान है।

  • Om Banna की ‘आत्मा’ Jodhpur से Pali की सड़क पर घूमती है, जिसने देखा उसकी ज़िंदगी बदल गयी
    Being Ghumakkad
    04 May, 2024
    06:42 AM
    Om Banna की ‘आत्मा’ Jodhpur से Pali की सड़क पर घूमती है, जिसने देखा उसकी ज़िंदगी बदल गयी

    ओम बन्ना का पूरा नाम ओम सिंह राठौड़ था। वो बचपन से ही दयालु और गरीबों की मदद करने वाले के तौर पर जाने जाते थे। हां, ज़मीदार जोग सिंह के घर में पैदा होने के कारण उनमें एक अलग किस्म का रौब था। वो आज से 35 साल पहले रॉयल इनफील्ड बुलेट पर चला करते थे। ये 80 के दशक की बात है, तब, जब लोग बुलेट के बारे में सही से जानते भी नहीं थे। आखिर ओम बन्ना का एक्सीडेंट कैसे हुआ? ओम बन्ना के साथ हुए उस हादसे की पूरी डिटेल हमें किसी और ने नहीं उनके बेटे महापराक्रम सिंह ने बतायी। जो काफी कोशिशों के बाद Being Ghumakkad से बात करने के लिए राज़ी हुए।

  • सूर्यास्त के बाद जो यहां रुका पत्थर बन गया, Pakistan बॉर्डर के नज़दीक Kiradu का ‘शापित’ सच
    Being Ghumakkad
    04 May, 2024
    06:19 AM
    सूर्यास्त के बाद जो यहां रुका पत्थर बन गया, Pakistan बॉर्डर के नज़दीक Kiradu का ‘शापित’ सच

    खास बात ये है कि यहां अंदर अजीब सा सन्नाटा पसरा रहता है। दिन के उजाले में, तपती दोपहरी में भी यहां कोई नहीं दिखायी देता, सिवाय किराड़ू मंदिर समूहों के मुख्य द्वार पर बैठे कुछ चौकीदारों के। ये सब देखकर एक बात समझ आती है, बाड़मेर से दूर वीराने में होने के चलते यहां कम ही लोग आ पाते होंगे। आस-पास ना रिहाइश है, ना कोई दुकान इत्यादि। ऐसे में सूर्यास्त बाद कोई यहां रुकेगा तो क्यों रुकेगा। किराड़ू के मुख्य द्वार से मंदिर के अंदर बढ़ने पर कुछ भग्नावशेष मिलते हैं, जो मन में खुद-ब-खुद कई सवालों को जन्म देने लगते हैं।

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  • Uttarakhand में महादेव का रहस्यलोक ‘लाखामंडल’, जहां मरे इंसान ज़िंदा हो जाते थे!
    Being Ghumakkad
    26 Apr, 2024
    05:07 AM
    Uttarakhand में महादेव का रहस्यलोक ‘लाखामंडल’, जहां मरे इंसान ज़िंदा हो जाते थे!

    देहरादून के विकास नगर से चकराता होते हुए हमारी टीम लाखामंडल के रास्ते पर चल पड़ी। सड़क के साथ बहती यमुना नदी इस यात्रा को सुखद और यादगार अनुभव में तब्दील कर देती है। करीब साढ़े तीन घंटे में Being Ghumakkad की टीम देहरादून से लाखामंडल पहुंच सकी।

  • Tanot Mata Mandir: Border पर आखरी हिन्दू मंदिर, जहां Indian Army करती है पूजा
    Being Ghumakkad
    25 Apr, 2024
    10:12 AM
    Tanot Mata Mandir: Border पर आखरी हिन्दू मंदिर, जहां Indian Army करती है पूजा

    जैसलमेर के रण में रहने वाली इन अद्भुत देवी की अनुकंपा को नज़दीक से समझने के लिए Being Ghumakkad की टीम जैसलमेर के लक्ज़री टेंट में एक रात बिताकर सुबह-सुबह भारत-पाकिस्तान सीमा की ओर बढ़ चली, जहां तनोट माता निवास करती हैं। जैसलमेर शहर से तनोट मंदिर करीब 120 किलोमीटर दूर है।

  • Kuldhara गांव में 200 साल से वीरान पड़े हैं 400 घर, भूतों ने यहां किसी को बसने नहीं दिया?
    Being Ghumakkad
    25 Apr, 2024
    09:45 AM
    Kuldhara गांव में 200 साल से वीरान पड़े हैं 400 घर, भूतों ने यहां किसी को बसने नहीं दिया?

    पुरातात्विक साक्षों के मुताबिक कुलधरा के इन खंडहरों के बीच एक दीवार पर दो तारीखें लिखी हुई मिलीं। जो दो व्यक्तियों के निधन की तारीख के रूप में लिखी गयी प्रतीत होतीं हैं। ये तारीखें साल 1235 और 1238 ईसवी हैं। इसी बात से अनुमान लगाया गया कि कुलधरा गांव का इतिहास करीब इतना पुराना तो होगा ही। Being Ghumakkad के सामने सवाल इसके बाद भी बरकरार था कि आखिर इतना पुराना गांव होने के बाद भी कुलधरा की ये टूटी-फूटी दरों-दीवारें सन्नाटे के साये में क्यों गुजर रही हैं।

  • Dhoni की क़िस्मत बदलने वाली देवड़ी माँ का रहस्य, 700 साल से कर रही मनोकामना पूरी
    Being Ghumakkad
    25 Apr, 2024
    08:36 AM
    Dhoni की क़िस्मत बदलने वाली देवड़ी माँ का रहस्य, 700 साल से कर रही मनोकामना पूरी

    भक्ति और भगवान में विश्वास करने वाले पहचान गए होंगे, जान गए होंगे ये झारखंड में देउड़ी या कहें दिउरी माता का मंदिर है। वो मंदिर जो हाल के वर्षों में क्रिकेटर महेंद्र सिंह धोनी के चलते आस्था का नया केंद्र बनकर प्रसिद्ध हो गया है।

  • सतयुग में बसे जागेश्वर धाम में विनाश की दस्तक, देवदार के पेड़ लाएंगे प्रलय
    Being Ghumakkad
    25 Apr, 2024
    08:20 AM
    सतयुग में बसे जागेश्वर धाम में विनाश की दस्तक, देवदार के पेड़ लाएंगे प्रलय

    जब से जागेश्वर के दारुका वन में देवदार के पेड़ों पर लाल रंग के निशान लगे हैं, हर किसी के मन में तरह-तरह के सवाल जन्म ले रहे हैं। विरोध की चिंगारी उत्तराखंड से होते हुए देश भर में फैल गयी है। सोशल मीडिया में ये चिंगारी शोला बनती जा रही है।

  • भादरिया माता: Pakistan की हिंगलाज माता से कनेक्शन, राष्ट्रपति भी नहीं रोक सके यहां आने से कदम
    Being Ghumakkad
    25 Apr, 2024
    07:53 AM
    भादरिया माता: Pakistan की हिंगलाज माता से कनेक्शन, राष्ट्रपति भी नहीं रोक सके यहां आने से कदम

    राजस्थान में हरियाली कम देखने को मिलती है, लेकिन Being Ghumakkad की टीम हरे-भरे खेतों के बीच से होकर गुजरी। जैसलमेर पहुंचने से करीब 80 किलोमीटर पहले मिला विशाल द्वार। यहीं से शुरू हो जाता है भादरिया राय मंदिर।

  • यहां किया तंत्र-मंत्र का अनुष्ठान, बनेंगे बिगड़े काम, बिना सिर वाली छिन्नमस्तिका मां के चमत्कार
    Being Ghumakkad
    25 Apr, 2024
    07:40 AM
    यहां किया तंत्र-मंत्र का अनुष्ठान, बनेंगे बिगड़े काम, बिना सिर वाली छिन्नमस्तिका मां के चमत्कार

    छिन्नमस्तिका मंदिर की यात्रा का आरंभ हुआ हार्ट ऑफ झारखंड यानी रांची से। यहां से कांके होते हुए टीम Being Ghumakkad सिकदरी घाटी पहुंच गयी। रांची से सिकदरी घाटी करीब पचास किलोमीटर दूर है। जिसे घुम्मकड़ों की टोली ने करीब एक घंटा 15 मिनट में पूरा कर लिया। घुम्मकड़ी के चाहने वाले यहां रुककर ज़रूर फोटो-सेशन करते हैं।

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